Sabarmati nadi kis parvat shrankhla se nikalti hai

Sabarmati nadi kis parvat shrankhla se nikalti hai :- दोस्तो आप लोग साबरमती नदी के बारे में तो अवश्य सुने होंगे और हो सकता है कि इस नदी के तट पर घूमने भी गए होंगे मगर क्या आपको मालूम है, कि साबरमती नदी किस पर्वत श्रृंखला से निकलती है और साबरमती नदी कहां स्थित है।

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और साबरमती नदी की कुल लंबाई कितनी है और साबरमती नदी का इतिहास क्या रहा है अगर आपको यह सब नहीं मालूम है तो आप हमारे इस लेख के साथ अंत तक बने रहिए। क्योंकि इस लेख में हम साबरमती नदी से जुड़ी हर एक जानकारी प्राप्त करने वाले हैं तो चलिए शुरू करते हैं इस लेख को बिना देरी किए हुए।


साबरमती नदी किस पर्वत श्रंखला से निकलती है ?

साबरमती नदी अरावली पर्वत श्रंखला से निकलती है, यह साबरमती नदी और अरावली पर्वत श्रंखला दोनों ही राजस्थान के उदयपुर में इस्थित है। हम आपके जानकारी के लिए बता दें कि अरावली पर्वत बहुत पुरानी पर्वत है और इस पर्वत से ही साबरमती नदी का इतिहास जुड़ा हुआ है और इसे प्राचीन काल के देवी-देवताओं से संबंधित नदी माना गया है।

साबरमती नदी गुजरात राज्य की एक महत्वपूर्ण नदी मानी जाती है यह पश्चिम दिशा में बहने वाली बहुत ही प्रसिद्ध नदी है। हालांकि साबरमती नदी गुजरात का प्रसिद्ध नदी मानी जाती है मगर इसकी उत्पत्ति राजस्थान के उदयपुर से हुआ है। 


साबरमती नदी के बारे में

राजस्थान के उदयपुर जिले के कोटडा तहसील में पदराडा के निकट अरावली की पहाड़ियों से ही साबरमती नदी का उतप्ति होता है। साबरमती नदी भारत की पश्चिम तरफ बहने वाली नदियों में से एक है और यह काफी प्रसिद्ध नदी है। साबरमती नदी को मानसून से प्रभावित नदी भी माना जाता है।

साबरमती नदी का पौराणिक नाम भोगवा है। साबरमती नदी भारत के मुख्य दो राज्य में बहती है जिसमें से पहले राज्य का नाम गुजरात है और दूसरे राज्य का नाम राजस्थान है। जिस प्रकार से अन्य नदियों की सहायक नदियां होती हैं, ठीक उसी प्रकार से साबरमती नदी का भी थोड़े बहुत सहायक नदियां हैं, जैसे कि :-  बाकल, सेइ, हथमती, मेशवा, माजम, मोहर, खारी, और इत्यादि बहुत से।

साबरमती नदी के किनारे भी बहुत से शहर स्थित हैं जैसे कि :-  उदयपुर, साबरकांठा, अहमदाबाद, गांधीनगर, आनंद और इत्यादि। अगर हम साबरमती नदी पर बने प्रमुख बांध के बारे में बात करें तो धरोई बांध इस पर प्रमुख बांध के रूप में बनाया गया है। धरोई बांध के योजना के तहत साबरमती नदी का पानी मुख्य रूप से सिंचाई और बिजली उत्पादन के लिए उपयोग किया जाता है जो कि वाकई में काफी सही है।

साबरमती सबसे पहले राजस्थान के उदयपुर से निकलती है फिर अहमदाबाद गांधीनगर होते हुए यह खम्बात की खाड़ी में गिरती है और वहां पर यह विलीन हो जाती है। कुछ इतिहासकारों का ऐसा मानना है कि साबरमती नदी का इतिहास हमारे पौराणिक कथाओं से जुड़ा हुआ है।

पौराणिक कथाओं के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि भगवान शिव जी सबसे पहले गंगा जी को लेकर गुजरात आए थे और वहीं से साबरमती नदी की जन्म हुई थी। अगर हम साबरमती नदी की लंबाई के बारे में बात करें तो, इसकी कुल लंबाई 371 किलोमीटर है। 

साबरमती नदी की बेसिन की अधिकतम लंबाई लगभग 300 किलोमीटर के आसपास है और इसकी अधिकतम चौड़ाई 100 किलोमीटर के आसपास है। साबरमती बेसिन का कुल पकड़ क्षेत्र 21674 वर्ग किलोमीटर है। 21674 वर्ग किलोमीटर में से ज्यादातर भाग गुजरात राज्य में आता है।


अरावली पर्वत के बारे में

दोस्तों हमने ऊपर के टॉपिक में जाना की साबरमती नदी किस पर्वत श्रंखला से निकलती है और साबरमती नदी कहां स्थित है और साबरमती नदी से जुड़ी कुछ जानकारी भी प्राप्त किया। अब हम इस टॉपिक के माध्यम से अरावली पर्वत से जुड़ी कुछ जानकारी प्राप्त करने वाले हैं तो चलिए शुरू करते हैं।

अरावली शब्द की उत्पत्ति संस्कृत भाषा से हुई है और इसे दो ‘आरा’ और ‘वल्ली’ में विभाजित किया जा सकता है, जिसका शाब्दिक अर्थ है ‘शिखरों की रेखा’ या फिर ‘शिखरों की माला’।

आश्चर्य है कि इस विशाल पर्वत श्रृंखला की लंबाई बहुत अधिक है, यह भारत के चार राज्यों राजस्थान, हरियाणा, गुजरात और दिल्ली में फैले हुए है । इसकी कुल लंबाई 692 किलोमीटर है।

भूवैज्ञानिकों का कहना है कि यह पर्वत श्रंखला 35 करोड़ वर्ष पुरानी है जो हिमालय पर्वतमाला से भी पुरानी है। इस प्रकार यह भारत में वलित पर्वतों की सबसे पुरानी श्रेणी है।

692 किमी लंबी अरावली रेंज की सबसे ऊंची चोटी माउंट आबू में है जो उदयपुर से 160 किमी की दूरी पर है। 5650 फीट की ऊंचाई वाले माउंट आबू में इस स्थान को गुरु शिखर के नाम से जाना जाता है।

राजस्थान में इतनी मार्बल कंपनियां होने का कारण यह है कि अरावली रेंज संगमरमर, ग्रेनाइट और बलुआ पत्थर जैसे खनिजों में समृद्ध है। इसके अलावा, यह रॉक फॉस्फेट, ज़ावर में सीसा-जस्ता-चांदी खनिज जमा आदि जैसे खनिजों की व्यावसायिक रूप से व्यवहार्य मात्रा का उत्पादन भी करता है।

इसे अलग-अलग क्षेत्रों में अलग-अलग नामों से जाना जाता है। उदाहरण के लिए उदयपुर में इसे ‘जग्गा पहाड़ियां’, ‘हिल्स ऑफ हर्षनाथ’ अलवर में और दिल्ली में ‘दिल्ली के पहाड़िया’ के नाम से जाना जाता है।

अरावली श्रृंखला कई नदियों को जन्म देती है जिनमें लूनी, सखी, बनास, साबरमती और साहिबी प्रमुख तौर पर शामिल हैं।


FAQ, s

Q1. साबरमती नदी की सहायक नदी कौन सी है? 

Ans. साबरमती नदी का सहायक नदियां कुछ इस प्रकार से हैं, जैसे कि :-  बाकल, सेइ, हथमती, मेशवा, माजम, मोहर, खारी, और इत्यादि बहुत से।

Q2. साबरमती कौन से राज्य में है?

Ans. साबरमती नदी राजस्थान राज्य और गुजरात राज्य में स्थित है।
Q3. साबरमती नदी पर कितने पुल है?
Ans. साबरमती नदी के ऊपर अच्छे खासे संख्या में पुल मौजूद है। साबरमती नदी के ऊपर बने सबसे प्रसिद्ध पुल का नाम धरोई बांध है।
Q4. साबरमती नदी की कूल लंबाई कितनी है।
Ans. हम आपके जानकारी के लिए बता दे कि, साबरमती नदी की कुल लंबाई 371 किलोमीटर है। 
Q5.  साबरमती नदी का प्राचीन नाम क्या है?
Ans. साबरमती नदी का प्राचीन और पौराणिक नाम भोगवा है। इस नदी को हमारे इतिहास से जोड़ा  जाता है।

( Conclusion, निष्कर्ष )

उम्मीद करता हूं, कि आप को मेरा यह लेख बेहद पसंद आया होगा और आप इस लेख के मदद से साबरमती नदी किस पर्वत श्रंखला से निकलती है, के बारे में जानकारी प्राप्त कर चुके होंगे।

हमने इस लेख में सरल से सरल भाषा का उपयोग करके आपको किस साबरमती नदी किस पर्वत श्रंखला से निकलती है ?, से जुड़ी हर एक जानकारी के बारे में बताने की कोशिश की है।

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